पिथौरागढ़-बागेश्वर हादसे की भेंट चढ़ा, दूल्हा दुल्हन का जोड़ा,, बागेश्वर के दानपुर इलाके में मचा कोहराम

पिथौरागढ़ सड़क हादसे में सभी यात्रियों की मौत।
उत्तराखंड के पिथौरागढ़ जिले में गुरुवार सुबह हुए दर्दनाक हादसे में 10 लोगों की मौत हो गई है। सभी बागेश्वर के शामा और भनार क्षेत्र के निवासी है। हादसे में एक ही परिवार के तीन लोगों की मौत हुई है। इसमें पिता, पुत्र और पुत्रवधू भी सड़क हादसे का शिकार हो गये।हादसे में सेना के दो जवानों की मौत हुई है।
उमेद व निशा की शादी दो महीने पहले हुई थी मौत। खबर की खबर सुनकर पूरे दानपुर इलाके में कोहराम मच गया,

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बागेश्वर। होकरा हादसे से क्षेत्र पंचायत सदस्य कुंदन सिंह की बूढ़ी मां केशवी देवी (82) और पत्नी गंगा देवी (54) पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है। हादसे में क्षेत्र पंचायत सदस्य कुंदन सिंह, उनके बेटे उमेश सिंह और बहू निशा की मौत के बाद होकरा परिवार में यह दोनों महिलाएं ही रह गई हैं।

एक ओर उमेश की मां गंगा देवी अपने इकलौते बेटे और पति के जाने का दुख झेल रही हैं तो दूसरी ओर कुंदन सिंह की माता अपने पुत्र और पोते के निधन से बेसुध हैं। शामा के क्षेत्र पंचायत सदस्य कुंदन सिंह कोरंगा का परिवार पंतनगर में रहता है। 17 अप्रैल को उन्होंने धूमधाम से अपने इकलौते पुत्र की शादी गरदपुर निवासी निशा से की थी। उस खुशी के क्षण में गांव के लोग भी बड़ी संख्या में शामिल हुए थे।

बागेश्वर। कपकोट के विधायक सुरेश गढ़िया ने पिथौरागढ़ जिले के मसूरीकांठा होकरा सड़क हादसे के लिए सड़क निर्माण एजेंसी को जिम्मेदार ठहराया है। उन्होंने कहा कि खराब सड़क के कारण 10 लोगों को अकाल मौत के मुंह में जाना पड़ा। मामले की उच्च स्तरीय जांच कराई जाएगी जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई कराई जाएगी।

मंदिर में पूजा अर्चना कर आशीर्वाद लिया था। बृहस्पतिवार को जब उन्हें होकरा देवी मंदिर में पूजा का निमंत्रण मिला तो पिता, पुत्र और पुत्रवधु खुशी- खुशी मां के दर्शन को चल दिए लेकिन होनी को कुछ और ही मंजूर था। उन्हें क्या पता था कि यह यात्रा उनके जीवन की अंतिम यात्रा होने वाली है। एक सड़क हादसे ने चंद महीने पहले आईं खुशियों को गम में बदल दिया। हादसे के बाद कुंदन सिंह के घर में उनकी शादी के बाद उमेश और निशा परिवार के साथ गांव पत्नी और बूढ़ी मां ही रह गई हैं। कुंदन सिंह के भाई के मंदिरों में पूजा-अर्चना करने के लिए आए थे। बीते भी सेना में हैं जो हादसे की खबर सुनकर गांव के लिए रवाना हो गए हैं।


बागेश्वर के शामा से मुनस्यारी के होकरा मंदिर में पूजा में शामिल होने के लिए जा रहे यात्रियों से भरा वाहन होकरा मंदिर से चंद किलोमीटर दूर दुर्घटनाग्रस्त हो गया। वाहन दुर्घटनाग्रस्त होकर रामगंगा नदी किनारे लगभग पांच सौ मीटर गहरी खाई में समा गया। इस दर्दनाक हादसे में 10 लोगों की मौके पर ही मौत हो गई।सभी शवों का रेस्क्यू किया जा चुका है और पोस्टमार्टम की प्रक्रिया जारी है।घटना की सूचना मिलते इ नगांवों समेत कपकोट घाटी में शोक की लहर फैल गई है ।
होकरा वाहन दुर्घटना के बाद दानपुर क्षेत्र में शोक की लहर गांव में मचा कोहराम


बागेश्वर। पिथौरागढ़ में वाहन दुर्घटना में सभी मृतक बागेश्वर जनपद के हैं। मृतकों में दो सेना के जवान बताए जा रहे हैं। घटना की सूचना मिलते ही गांवों में कोहराम मच गया हर कोई घटना से स्तब्ध है।
बागेश्वर के दूरस्थ गांव शामा व भनार के निवासियों का बागेश्वर समेत पिथौरागढ़ जनपद के कुछ बाजार व मंदिरों में आना जाना लगा रहता है। गुरूवार की सुबह तेजम तहसील के होकरा के समीप हुई वाहन दुर्घटना में बागेश्वर जनपद के दूरस्थ गांव शामा व भनार गांव के लोग शामिल हैं। घटना की सूचना मिलते इनगांवों समेत कपकोट घाटी में शोक की लहर फैल गई। कपकोट के पूर्व विधायक ललित फर्स्वाण अपने साथियों सहित गांव को रवाना हो गए। प्रशासन से मिली सूचना के अनुसार मृतक किशन सिंह, धरम सिंह, कुंदन सिंह, निशा, उमेश सिंह, शंकर सिंह, सुंदर सिंह शामा गांव के हैं जबकि वाहन चालक महेश सिंह, कुशाल सिंह व दान सिंह भनार के हैं। कुशाल सिंह व दान सिंह सेना में कार्यरत हैं तथा इन दिनों अवकाश में घर आए थे। घटना के बाद गांव में शोक की लहर फैली हुई है वहीं दूरस्थ क्षेत्र शामा व भनार के बागेश्वर में रह रहे ग्रामीण क्षेत्र को रवाना हुए हैं।
इधर घटना पर बागेश्वर जनपद के प्रभारी मंत्री सौरभ बहुगुणा ने शोक व्यक्त करते हुए घटना को दुर्भाग्यपूर्ण बताया है।

उत्तराखंड वार्ता

उत्तराखंड वार्ता समूह संपादक

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